देवघर (शहर परिक्रमा)

महेशमारा हॉल्ट के शिलान्यास के दौरान संप चेंबर ने डीआरएम और सांसद को दिया ज्ञापन

आज सांसद डॉ. निशिकांत दुबे और डीआरएम, आसनसोल चेतनानंद सिंह ने माहेशमारा हॉल्ट का शिलान्यास किया। कार्यक्रम में रेलवे के आमंत्रण पर संताल परगना चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्रीज, देवघर के अध्यक्ष आलोक मल्लिक और डीआरयूसीसी के सदस्य प्रिंस सिंघल ने भी भाग लिया। चैंबर ने महेशमारा हॉल्ट के शिलान्यास पर हर्ष व्यक्त किया तथा सांसद डॉ. दुबे के रेलवे के विकास और विस्तार में देवघर, गोड्डा एवं पूरे संताल परगना को देश के मानचित्र पर फोकस में रखने के लिए आभार व्यक्त किया।
इस अवसर पर संप चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्रीज, देवघर ने डीआरएम और सांसद को देवघर में कुछ और रेल सुविधाओं के विस्तार और नई ट्रेन की मांग हेतु एक ज्ञापन दिया। ज्ञापन में वर्तमान में जसीडीह से चल रहे साप्ताहिक ट्रेन जसीडीह-पुणे, जसीडीह-वास्कोडिगामा, जसीडीह-तांबरम, जसीडीह-बेंगलुरु और देवघर-अगरतला एक्सप्रेस को सप्ताह में दो या तीन दिन करने की मांग रखी है। चैंबर ने बताया है कि अब ये ट्रेन काफी पॉपुलर हो चुकी है और इसमें यात्रियों की डिमांड बढ़ती जा रही है। इसके अलावा देवघर से कुछ और नई ट्रेन चलाने की मांग रखी गई है। जिसमें सुबह के समय देवघर से सियालदह/हावड़ा वाया आसनसोल और एक दूसरी ट्रेन रात में भाया दुमका, देवघर से दरभंगा/जयनगर, देवघर से साहिबगंज/पाकुड़ के लिए दैनिक गाड़ी तथा देवघर से जयपुर भाया गया या पटना, देवघर से रामेश्वरम वाया भुवनेश्वर-पुरी द्विसाप्ताहिक ट्रेन की मांग की गई है।
वहीं पिछले सावन में शुरू किए गए देवघर से सरायगढ़ (सहरसा, सुपौल) की ट्रेन जो 2 माह पूर्व बंद कर दी गई है, उसे पुनः नियमित रूप से फुल रैक की गाड़ी के रूप में चलाने की मांग रखी गई है। चैंबर ने कहा है कि देवघर से मुंगेर, खगड़िया, सहरसा, सुपौल की कनेक्टिविटी काफी आवश्यक है। पूर्व में चल चुकी यह गाड़ी अत्यंत सफल रही थी और यात्रियों के लिए वरदान साबित हो रही थी। एक अन्य मांग में वर्तमान में परीक्षण के तौर पर चलाए जा रहे देवघर-गोड्डा और देवघर-भागलपुर ट्रेन को अत्यावश्यक बताते हुए प्रशंसा की गई है तथा इसे नियमित रूप से चलाने की मांग की गई है। इसमें देवघर से गोड्डा को सुबह 7:00 बजे भाया दुमका के बदले भाया हंसडीहा चलाने की मांग की गई है। विदित हो कि पूर्व में यह ट्रेन भाया हंसडीहा ही शुरू की गई थी। चैंबर ने देवघर से धनबाद के लिए भी एक मेमू ट्रेन का डिमांड किया है।
वहीं यात्रियों तथा यातायात में नागरिक सुविधा के लिए बैद्यनाथधाम स्टेशन और पुरनदाहा में बनाए गए रेलवे अंडरपास को आपस में भी रोड कनेक्टिविटी देने का सुझाव दिया गया है जिससे देवघर वासियों को ट्रैफिक की एक नई पहुंचपथ मिल जाएगी। दूसरी ओर सत्संग रेल ओवर ब्रिज को देवघर-जसीडीह मार्ग पर भी एक नया पाथ खोलकर के कनेक्ट करने की मांग रखी गई है। विदित हो कि अभी फिलहाल सत्संग रेलवे ओवरब्रिज सर्कुलर रोड पर ही निकलती है। यह ओवरब्रिज अगर देवघर-जसीडीह मार्ग से भी कनेक्ट हो जाएगी तो इस ओवरब्रिज की उपयोगिता काफी बढ़ जाएगी और देवघर की ट्रैफिक व्यवस्था और सुगम होगी।
डीआरएम चेतनानंद सिंह ने चेंबर अध्यक्ष आलोक मल्लिक और डीआरयूसीसी मेंबर प्रिंस सिंघल को बताया कि इन मांगों पर निश्चित रूप से गंभीरता पूर्वक विचार किया जाएगा परंतु इससे पहले रेलवे देवघर के वाशिंगपीट को अगस्त तक शुरू करने की तैयारी कर रही है। देवघर में वाशिंगपीट के शुरू हो जाने और इसके बाद रोहिणी बाईपास शुरू कर जसीडीह से खुलने वाली सभी ट्रेनों को देवघर से ओरिजिनेट कर दिया जाएगा। इसके बाद और नई ट्रेनों को संचालित करने में सुविधा होगी। उन्होंने चेंबर के द्वारा उठाए गए सभी मांगों पर समुचित कार्रवाई सुनिश्चित करने का आश्वासन दिया है।