देवघर: राम कथा का चौथा दिन पुष्प वाटिका प्रसंग पर
संगीतमय राम कथा का आयोजन पुरन्दाह मोड के पास होटल शांति इंटरनेशनल के सभागार में 9 दिवसीय राम कथा का आयोजन चल रहा है। इस राम कथा में कथा वाचक महाराज शंभू शरण लाटा के मुखारविंद से भक्ति की गंगा बह रही है आज राम कथा का चौथा दिन पुष्प वाटिका प्रसंग पर रहा।
कथावाचक ने आज के प्रसंग में कहा ठाकुर रामकृष्ण परमहंस कहते थे कि भगवान के लिए अस्त्र प्रहार 24 घंटे केवल 24 घंटे में भगवान के बिना जी नहीं सकते आंसू बह नहीं सकते तो केवल केवल 24 घंटे में भगवान मिल जाता है। मां काली मां से बात करने लगी हम तो थोड़ी देर भगवान को याद करते हैं और भगवान राम अपनी मां से कहते हैं मुझे बंदर चाहिए। राम जी रोने लगे तो महाराज दशरथ आ गए। दशरथ ने हाथी घोड़ा खेल खिलौना सब भगवान को दिया लेकिन राम जी नहीं माने और मन से कहा मुझे लंबी पूछ वाला बंदर चाहिए। मां उसे दशरथ से आज्ञा लेकर बंदर मंगा कर देती है और राम जी अपने आंगन में बंदर के साथ खेलते हैं।
राम जी के साथ हनुमान जी खेलते हैं। पूरा अयोध्या वासियों से हिल मिल जाते हैं। उसके बाद राम जी गुरुकुल पढ़ने जाते हैं हनुमान जी राम जी के बिना व्याकुल हो जाते हैं। थोड़ी समय में भगवान को सारी विद्या आ गई और राम जी गुरुकुल में सेवा करने लगे।
पहले गुरुकुल में जो पढ़ाई होती थी मंत्री देवों भाव पितृ देवो भव
जीवन में संस्कारों की कितनी महत्वता है। कितने विचारों में संस्कार है। सभी मनुष्यों को अपनी वाणी में मिठास अवश्य रखनी चाहिए।
इस कथा के मुख्य यजमान बिलोतिया परिवार, महेश अग्रवाल, निशा अग्रवाल, गौरी शंकर अग्रवाल, दीपेश अग्रवाल, नीलेश अग्रवाल, दीपक अग्रवाल, राजु धनानिया, आरकेडी बंधु मारवाड़ी सम्मेलन के शिवकुमार सर्राफ, सचिन सुलतानिया, धार्मिक न्यास बोर्ड के अध्यक्ष ताराचंद जैन, पार्षद रेणु सर्राफ, अनिल झुनझुनवाला, राजकुमार मुंदड़ा, संदीप अग्रवाल, अर्चना अग्रवाल, राजेश अग्रवाल, पवन अग्रवाल, हर्ष अग्रवाल इत्यादि भक्त मुख्य रूप से उपस्थित थे।