देवघर: डायट, जसीडीह मे पराक्रम दिवस के रूप मे मनाया गया सुभाष चंद्र बोस की जयंती
देवघर: आज दिनांक 23.01. 24 को डायट जसीडीह, देवघर में सुभाषचंद्र बोस की 126वी जयंती पराक्रम दिवस के रूप में मनाई गई।
इस अवसर पर डायट प्राचार्य ने संकाय सदस्यों के साथ भावपूर्वक स्मरण करते हुए नेताजी को श्रद्धा सुमन अर्पित किए।
इस दौरान प्राचार्य अजय कुमार ने संबोधित करते हुए कहा कि मां भारती के वीर सपूत, महान देशभक्त, भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के अविस्मरणीय नायक सुभाष चंद्र बोस ने कहा था कि आजादी दी नहीं जाती, ली जाती है। नेताजी का मानना था कि इतिहास में कोई वास्तविक परिवर्तन चर्चा से कभी घटित नहीं हुआ और सबसे बड़ा अपराध अन्याय सहना और गलत के साथ समझौता करना है। ‘जय हिंद’, ‘दिल्ली चलो’, ‘तुम मुझे खून दो, मैं तुम्हें आजादी दूंगा’ आदि जोशीले नारों के साथ नेताजी ने आजाद हिंद फौज की स्थापना की। नेताजी छात्रों को भविष्य का उत्तराधिकारी बताते हुए कहते थे कि देश के विकास की सच्ची शक्ति व सामर्थ्य उनमें ही है। इसलिए आईसीएस जैसी प्रतिष्ठित सेवा का प्रलोभन ठुकराकर देशबंधु चितरंजन दास के शिष्यत्व में कांग्रेस से जुड़े और स्वतंत्रता संघर्ष के लिए अपनी मातृभूमि के लिए अपना सर्वस्व समर्पित कर दिया। साथ ही असंख्य युवाओं को अपनी वीरता, साहस और देशभक्ति से प्रेरित किया। सुभाषचंद्र बोस खुले तौर पर देश के युवाओं को एक साथ आने और स्वतंत्रता के लिए लड़ने का आह्वान करते थे।
उन्होंने आगे कहा की नेताजी असाधारण नेतृत्व कौशल और ओजस्वी वक्तृता के साथ सबसे प्रभावशाली स्वतंत्रता सेनानी के रूप से हर हिंदुस्तानी के हृदय में समादृत हैं।
इस अवसर पर किरण कुमारी, शोभा कुमारी, पूजा सिंह व संतोष प्रसाद मौजूद थे।